२१ अप्रैल : श्रीराम नवमी
२३ अप्रैल : कामदा एकादशी (व्रत से ब्रह्महत्या आदि
पापों तथा पिशाचत्व आदि दोषों का नाश )
२७ अप्रैल से २६
मई : वैशाख मास व्रत ( वैशाख मास में भक्तिपूर्वक किये गये दान, जप, हवन, प्रात:
पुण्यस्नान आदि शुभ कर्मों का अक्षय तथा १०० करोड़ गुना अधिक पुण्य )
७ मई : वरूथिनी एकादशी (सौभाग्य, भोग,
मोक्ष प्रदायक व्रत; १०,००० वर्षों की तपस्या के समान फल | माहात्म्य पढ़ने-सुनने
से १००० गोदान का फल )
१४ मई : अक्षय तृतिया ( पूरा दिन शुभ मुहूर्त
), त्रेता युगादि तिथि ( स्नान, दान, जप, तप, हवन आदि का अनंत फल ), विष्णुपदी
संक्रांति (पुण्यकाल : दोपहर १२:३५ से सूर्यास्त ) ध्यान, जप व पुण्यकर्म का लाख
गुना फल )
ऋषिप्रसाद
– अप्रैल २०२१ से
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