भगवन नाम ले कर हँसने वाले को ईर्ष्या से, लोलुपता से, तनाव से मुक्ति सहज में मिल जाती है । भगवन नाम का चिंतन कर के भीतर का प्रीति रस पाना और हास्य प्रसाद लेना अमृत तुल्य है । इससे एलर्जी दूर होती है, छोटे-मोटे रोग को हँसी ऐसे मार भगाती है जैसे सूर्य अंधकार को । यह प्रयोग दर्द नाशक है , आनंद आता है । हँसना एक आन्तरिक -मानसिक -बौद्धिक व्यायाम है ।
कोलेस्ट्रोल का मरीज अगर ठीक से हँसे तो कोलेस्ट्रोल कंट्रोल होता है । ह्रदय रोग में भी लाभ होता है ।
- पूज्य बापूजी Amd. 27/10/2011
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