कर्म में कुशलता, ज्ञान
और वैराग्य, विवेक का आदर, चुप साधना, विवेक – वैराग्य
इनमें आप पायेंगे :
१] कर्मों के बंधन से छूटने का उपाय, २] मौत के भी से कैसे बचें ?, ३] सुखी जीवन के दो सूत्र, ४] ईश्वर की शरण कैसे जायें ? ५] क्या करने से विवेक – वैराग्य जगेगा ?
वीसीडी – संग्रह का
मूल्य : रु. १९० ( डाक खर्च सहित )
इस वीसीडी – संग्रह के
साथ प्रसादरूप में पायें शरद पूनम की चाँदनी से पुष्ट हुए गुलाबजलयुक्त २
आयुर्वेदिक संतकृपा नेत्रबिंदु |
ये आप – अपने नजदीकी संत
श्री आशारामजी आश्रम या समिति के सेवाकेंद्र से प्राप्त कर सकते हैं |
स्त्रोत
– लोककल्याण सेतु – नवम्बर २०१६ से
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