गर्भवती महिला रोज श्रद्धापूर्वक गाय का पूजन कर उसकी
कम-से-कम एक परिक्रमा करे, उसे अपने हाथ से रोटी तथा गुड़ खिलाये और सुबह-शाम
गोदुग्ध का पान करे तो निश्चित ही आनेवाली संतान फुर्तीली, सशक्त, मेधावी एवं
निरोगी होगी और प्रसव भी सहज ढंग से होगा |
प्रसव-पीड़ा कम होगी | उपरोक्त लाभों के
लिए यह प्रयोग प्रतिदिन करना अनिवार्य है | प्रतिदिन सम्भव न हो तो जितने दिन
सम्भव हो करे, तब भी लाभ होगा |
लोककल्याण सेतु –अक्टूबर २०१९ से
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